इटली में खिलखिलाएगी बघेलखंड की बेटी इटालियन दंपती को मिली संतान तो 2 साल की बच्ची को मिला माता-पिता का सहारा

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चैत्र नवरात्रि और सनातनी नववर्ष का पहला दिन मासूम की जिंदगी में खुशियों भरा नया सवेरा लेकर आया। जन्म के बाद से ही अनाथ जीवन गुजारने को मजबूर अबोध अब न तो अनाथ रहेगी और न ही उसके जीवन में दुखों का अंधेरा होगा। उसके भी माता-पिता होंगे, अपना घर होगा और इन सब के बीच खुशियों भरा घर-संसार होगा। उसका जीवन भी अब वहां गुजरेगा, जहां जाने के सपने लोग सब कुछ होने के बावजूद लोग सिर्फ देख ही पाते हैं।

हम बात कर रहे हैं 2 साल की एक ऐसी मासूम बालिका प्रियंका की, जो सतना के मातृछाया संस्थान में रह रही थी। माता-पिता न होने के कारण उसका पालन पोषण सतना की मातृ छाया संस्था ही कर रही थी। प्रियंका को सीधी से सतना लाया गया था और तब से वह यहीं की होकर रह गई थी लेकिन अब प्रियंका सतना ही नहीं हिंदुस्तान में भी नहीं रहेगी। उसका नया ठिकाना अब इटली के मिलान शहर में होगा क्योंकि उसे इटली में रहने वाले दंपती ने गोद ले लिया है। नवरात्रि और सनातनी नववर्ष के पहले दिन इटली के मिलान शहर के निवासी एंड्रिया ऑरसिनी और उनकी पत्नी एलिसबेट्टा बोंडिओली ने मातृछाया पहुंचकर प्रियंका को गोद लेने की प्रक्रिया पूरी की और उसे अपने साथ ले गए।

सतना कलेक्टर अनुराग वर्मा की मौजूदगी में इटालियन दंपती ने मातृछाया संस्था से बालिका को गोद लेने के लिए इंटर कंट्री एडॉप्शन प्रोसेस को पूर्ण किया। कागजी कार्रवाई पहले ही पूरी की जा चुकी थी, जिसके आधार पर मासूम का वीजा और पासपोर्ट भी तैयार हो चुका था। बुधवार को दंपती ने सतना पहुंचकर बेटी को गोद में उठाया और फिर खुशी से उनकी आंखें छलक उठीं।

एंड्रिया की पत्नी एलिसबेट्टा का कहना था कि आज उनकी खुशी का ठिकाना नहीं है, उनकी ख्वाहिश पूरी हुई है। बेटी को गोद में उठाकर वे बेहद खुश और उत्साहित हैं।

वेबसाइट के जरिए किया स्पेशल चाइल्ड के लिए आवेदन

महिला एवं बाल विकास अधिकारी सौरभ सिंह ने बताया कि इटालियन दंपती ने कारा वेबसाइट के जरिए सतना की संस्था मातृ छाया में रह रही प्रियंका को एडॉप्ट करने के लिए आवेदन किया था। प्रियंका स्पेशल चाइल्ड कैटेगरी में है। उनका आवेदन एक्सेप्ट होने के बाद इटालियन और इंडियन एम्बेसी के मार्फ़त प्रक्रिया शुरू हुई। इटालियन एंबेसी ने इसके लिए एक एजेंसी हायर की, जो एडॉप्शन के इच्छुक निःसंतान इटालियन दंपती के दस्तावेजों को अंग्रेजी में तैयार कराने और इंडियन एंबेसी से संवाद करने का काम करती रही। उसी एजेंसी के जरिए सतना जिला प्रशासन से भी दंपती की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बात कराई गई। इंडियन एंबेसी ने हर बात की तस्दीक के बाद इंटर कंट्री एडॉप्शन प्रक्रिया पूरी कराई और मंजूरी दी। जिसके बाद बुधवार को इटालियन दंपती को बेटी सौंपी गई।

कलेक्टर अनुराग वर्मा ने बताया कि प्रक्रिया पूर्ण कर इटालियन दंपती ने बेटी का दत्तक ग्रहण किया है। प्रशासन ने तस्दीक के बाद बेटी गोद दी है। हमें बेहद खुशी है कि मातृ छाया से बेटी जीवन के नए सफर के लिए जा रही है। हमें उम्मीद है कि उसे खुशियां मिलेगीं और उसका जीवन संवरेगा।

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